अनवरत
क्या बतलाएँ दुनिया वालो! क्या-क्या देखा है हमने ...!
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शनिवार, 31 मार्च 2012
गलती करो तो भुगत लो, पर गाँठ जरूर बांध लो
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यूँ तो मुझे सब लोग कहते हैं कि मैं बहुत सुस्त वकील हूँ। पर मैं जानता हूँ कि जल्दबाजी का नतीजा अच्छा नहीं होता। अभी कुछ दिन पहले एक मुक...
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गुरुवार, 29 मार्च 2012
ओलों से सर की बचत के लिए हम बालों के मोहताज नहीं
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को ई सर मुड़ा कर नाई की दुकान से निकला ही हो और आसमान से ओले गिरने लगे हों ऐसा छप्पन साल की जिन्दगी में न तो सुना और न ही अखबार में पढ़ा।...
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शनिवार, 24 मार्च 2012
भैस की अक्ल
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क ल जब दूध लेने गए, तो दूध निकलने में देर थी। मैं अपनी कार में बैठे इन्तजार करने लगा। पास में एक भैंस खूंटे से बंधी थी। वह खड़ी होना चाहत...
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बुधवार, 21 मार्च 2012
धूल भरे दिन का सूर्यास्त
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क ल सुबह से ही आसमान में धूल के कण दिखाई देने लगे थे। सूरज की चमक कम थी। लेकिन जैसे जैसे दिन चढ़ता गया धूल बढ़ती गई। सांझ तक सारा आकाश धूल...
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गुरुवार, 15 मार्च 2012
बंदर की रोटी बनाम होलोप्टीलिया इंटेग्रिफोलिया -एक औषधीय वृक्ष
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पि छली पोस्ट में मैं ने एक वृक्ष और उस के कुछ भागों के चित्र पोस्ट किए थे। स्थानीय लोग इसे बन्दर की रोटी का पेड़ कहते हैं। टिप्पणियों से प...
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सोमवार, 12 मार्च 2012
बन्दर की रोटियाँ देने वाला यह वृक्ष कौन सा है?
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मित्रों! वि गत साढ़े तीन माह से अनवरत अनियमित था। लेकिन इस बार तो एक लंबा विराम ही लग गया। एक बार जब खिलाड़ी कुछ दिन के लिए मैदान से बाहर...
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बुधवार, 15 फ़रवरी 2012
शाह ईरान द्वारा वृक्षारोपण का मुहूर्त
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ई रान के बादशाह का किस्सा जिसे फ्रेंक्विस बर्नियर ने अपनी किताब में जगह दी, मैं अपने वायदे के मुताबिक कल आप के पेश-ए-नजर नहीं कर सका था। ल...
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