अनवरत

क्या बतलाएँ दुनिया वालो! क्या-क्या देखा है हमने ...!

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शुक्रवार, 8 फ़रवरी 2013

ज्ञान का, और अन्धविश्वासों का सूत्रपात

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मा नव सदा अपनी आदिम अवस्था में नहीं रह सकता था, सदा प्रकृति और गोचर जगत की नाल से जुड़ा नहीं रह सकता था।   पशु ही ऐसा है जो प्रकृति...
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दिनेशराय द्विवेदी
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